उस्ताद ज़ाकिर हुसैन: भारतीय शास्त्रीय संगीत का शाश्वत माधुर्य

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दुनिया प्रसिद्ध तबला वादक जाकिर हुसैन के निधन पर शोक मना रही है, जिनका 73 वर्ष की आयु में फेफड़ों की पुरानी बीमारी इडियोपैथिक पल्मोनरी फाइब्रोसिस की जटिलताओं के कारण निधन हो गया। भारतीय शास्त्रीय और वैश्विक संगीत दोनों में अपनी असाधारण प्रतिभा और योगदान के लिए मशहूर हुसैन ने दुनिया पर एक अमिट छाप छोड़ी। 1951 में मुंबई में जन्मे जाकिर हुसैन प्रसिद्ध तबला वादक उस्ताद अल्ला रक्खा के बेटे थे। उनका करियर छह दशकों तक फैला रहा, इस दौरान उन्होंने कई भारतीय और पश्चिमी संगीत दिग्गजों के साथ सहयोग किया। उनके अभिनव फ्यूजन संगीत और मनमोहक प्रदर्शन ने उन्हें वैश्विक लोकप्रियता दिलाई। हुसैन को कई पुरस्कार मिले, जिनमें चार ग्रैमी पुरस्कार भी शामिल हैं। संगीत में उनके योगदान को भारत ने भी मान्यता दी, जिसने उन्हें तीनों पद्म पुरस्कारों से सम्मानित किया।

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