बेंगलुरु. प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने बेंगलुरु के क्रांतिवीर संगोली रायण्णा (केएसआर) रेलवे स्टेशन से दक्षिण भारत की पहली ‘वंदे भारत’ एक्सप्रेस ट्रेन को शुक्रवार को हरी झंडी दिखाई. यह ट्रेन बेंगलुरु के रास्ते मैसूरू और चेन्नई के बीच चलेगी. यह देश की पांचवीं ‘वंदे भारत’ एक्सप्रेस ट्रेन है. अधिकारियों ने बताया कि यह चेन्नई के औद्योगिक केंद्र, बेंगलुरु के ‘स्टार्टअप हब’ और प्रसिद्ध पर्यटन शहर मैसूरू के बीच के संपर्क को बढ़ाएगी.
प्रधानमंत्री ने कहा, ‘‘चेन्नई-मैसूरू वंदे भारत एक्सप्रेस कनेक्टिविटी के साथ-साथ वाणिज्यिक गतिविधियों को भी बढ़ावा देगी. ये ‘ईज आॅफ लिंिवग’ को भी बढ़ाएगी. खुशी है कि इस ट्रेन को बेंगलुरु से हरी झंडी दिखाकर रवाना किया.’’ रेलवे अधिकारियों के अनुसार, वंदे भारत एक्सप्रेस उन्नत अत्याधुनिक सुरक्षा सुविधाओं से लैस है जिसमें स्वदेशी रूप से विकसित ट्रेन सुरक्षा प्रणाली ‘कवच’ शामिल है. यह महज 52 सेकेंड में 0 से 100 किलोमीटर प्रति घंटे की और अधिकतम 180 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार पकड़ सकती है.
देश की पहली वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेन को 2019 में नई दिल्ली-कानपुर-इलाहाबाद-वाराणसी मार्ग पर हरी झंडी दिखाकर रवाना किया गया था. प्रधानमंत्री ने शुक्रवार को ‘भारत गौरव काशी दर्शन’ ट्रेन को भी हरी झंडी दिखाई, जो रेलवे की ‘भारत गौरव’ ट्रेन नीति के तहत कर्नाटक के मुजराई विभाग द्वारा चलाई जाएगी.
दक्षिण पश्चिम रेलवे के अनुसार, ‘‘यह काशी की यात्रा करने के इच्छुक कई यात्रियों के सपने को पूरा करेगी.’’ इस ट्रेन में श्रद्धालुओं के लिए विशेष छूट के साथ आठ दिन का एक यात्रा ‘पैकेज’ उपलब्ध होगा. आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि कर्नाटक सरकार काशी विश्वनाथ यात्रा के तीर्थयात्रियों को अतिरिक्त पांच हजार रुपये भी देगी. यह ट्रेन वाराणसी, अयोध्या और प्रयागराज जैसे कई तीर्थ स्थल जाएगी.
प्रधानमंत्री कार्यालय के अनुसार, कर्नाटक ‘भारत गौरव’ योजना के तहत इस ट्रेन को चलाने वाला पहला राज्य है जिसमें राज्य सरकार और रेल मंत्रालय कर्नाटक से तीर्थयात्रियों को वाराणसी (काशी) भेजने के लिए मिलकर काम कर रहे हैं. बयान के अनुसार तीर्थयात्रियों को काशी, अयोध्या और प्रयागराज जाने के लिए आरामदायक प्रवास और मार्गदर्शन प्रदान किया जाएगा.
‘भारत गौरव काशी दर्शन’ ट्रेन को रवाना करने के बाद मोदी ने ट्वीट किया, ‘‘ मैं कर्नाटक को बधाई देना चाहता हूं कि यह ‘भारत गौरव काशी यात्रा’ ट्रेन शुरू करने वाला पहला राज्य बन गया है. यह ट्रेन काशी और कर्नाटक को करीब लाती है. इस ट्रेन से तीर्थयात्री और पर्यटक वाराणसी, अयोध्या और प्रयागराज की यात्रा कर सकेंगे.’’