प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज 26 जनवरी को नई दिल्ली स्थित नेशनल वॉर मेमोरियल पर शहीदों को श्रद्धांजलि देकर गणतंत्र दिवस समारोह की शुरुआत की। उनके साथ रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह भी मौजूद रहे। प्रधानमंत्री ने शहीदों की स्मृति में पुष्पचक्र अर्पित किया और देश के वीर सैनिकों को याद किया।
प्रधानमंत्री द्वारा पुष्पचक्र अर्पित करने के बाद इंटर-सर्विसेज गार्ड के कमांडर अमित राठी ने 21 गार्ड्स और 6 बगुलरों के साथ सलामी शस्त्र और शोक शस्त्र के आदेश दिए। लास्ट पोस्ट की धुन पूरे माहौल को भावुक बना दिया इस दौरान सभी अधिकारियों ने शहीदों को सलामी दी और दो मिनट का मौन रखा।
इस साल, 40 वर्षों बाद फिर से एक पुरानी परंपरा को पुनर्जीवित किया गया। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू और इंडोनेशिया के राष्ट्रपति को भारतीय सेना की सबसे वरिष्ठ रेजिमेंट राष्ट्रपति के अंगरक्षकों के द्वारा कर्तव्य पथ तक पारंपरिक बग्गी में ले जाया गया। कर्तव्य पथ पर पहुंचने पर राष्ट्रपति और मुख्य अतिथि का प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गर्मजोशी से स्वागत किया। प्रधानमंत्री ने वहां उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ और उनकी पत्नी सुदेश धनखड़ का भी अभिवादन किया।
इसके बाद राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने राष्ट्रीय ध्वज फहराया और गणतंत्र दिवस समारोह का नेतृत्व किया। उनके साथ इंडोनेशिया के राष्ट्रपति प्रबावो सुबियांतो भी मौजूद थे जो इस वर्ष के मुख्य अतिथि हैं। राष्ट्रगान की धुन के साथ स्वदेशी 105 मिमी लाइट फील्ड गन से 21 तोपों की सलामी दी गई।